? आज का हिन्दू पंचांग?
दिनांक – 11 मई 2022
दिन – बुधवार
विक्रम संवत – 2079 (गुजरात-2078)
शक संवत -1944
अयन – उत्तरायण
ऋतु – ग्रीष्म ऋतु
मास – वैशाख
पक्ष – शुक्ल
तिथि – दशमी शाम 07:31 तक तत्पश्चात एकादशी
नक्षत्र – पूर्वाफाल्गुनी शाम 07:28 तक तत्पश्चात उत्तराफाल्गुनी
योग – व्याघात रात्रि 07:25 तक तत्पश्चात हर्षण
राहुकाल – दोपहर 12:35 से दोपहर 03:13 तक
सूर्योदय – 06:03
सूर्यास्त – 19:06
दिशाशूल – उत्तर दिशा में
व्रत पर्व विवरण –
? विशेष –
? एकादशी व्रत के लाभ ?
11 मई 2022 बुधवार को शाम 07:32 से 12 मई, गुरुवार को शाम 06:51 तक एकादशी है ।
? विशेष – 12 मई, गुरुवार को एकादशी का व्रत (उपवास) रखें।
?? एकादशी व्रत के पुण्य के समान और कोई पुण्य नहीं है ।
?? जो पुण्य सूर्यग्रहण में दान से होता है, उससे कई गुना अधिक पुण्य एकादशी के व्रत से होता है ।
?? जो पुण्य गौ-दान सुवर्ण-दान, अश्वमेघ यज्ञ से होता है, उससे अधिक पुण्य एकादशी के व्रत से होता है ।
?? एकादशी करनेवालों के पितर नीच योनि से मुक्त होते हैं और अपने परिवारवालों पर प्रसन्नता बरसाते हैं ।इसलिए यह व्रत करने वालों के घर में सुख-शांति बनी रहती है ।
?? धन-धान्य, पुत्रादि की वृद्धि होती है ।
?? कीर्ति बढ़ती है, श्रद्धा-भक्ति बढ़ती है, जिससे जीवन रसमय बनता है ।
?? परमात्मा की प्रसन्नता प्राप्त होती है ।पूर्वकाल में राजा नहुष, अंबरीष, राजा गाधी आदि जिन्होंने भी एकादशी का व्रत किया, उन्हें इस पृथ्वी का समस्त ऐश्वर्य प्राप्त हुआ । भगवान शिवजी ने नारद से कहा है : एकादशी का व्रत करने से मनुष्य के सात जन्मों के पाप नष्ट हो जाते हैं, इसमे कोई संदेह नहीं है । एकादशी के दिन किये हुए व्रत, गौ-दान आदि का अनंत गुना पुण्य होता है ।
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? एकादशी के दिन करने योग्य ?
?? एकादशी को दिया जलाके विष्णु सहस्त्र नाम पढ़ें …….विष्णु सहस्त्र नाम नहीं हो तो १० माला गुरुमंत्र का जप कर लें l अगर घर में झगडे होते हों, तो झगड़े शांत हों जायें ऐसा संकल्प करके विष्णु सहस्त्र नाम पढ़ें तो घर के झगड़े भी शांत होंगे l
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? एकादशी के दिन ये सावधानी रहे