सभी हितधारकों के सुझावों को शामिल कर बनाया गया संतुलित बजट- मुख्यमंत्री
चंडीगढ़, 17 मार्च- हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने बतौर वित्त मंत्री वर्ष 2025-26 का राज्य बजट प्रस्तुत करते हुए कहा ...
चंडीगढ़, 17 मार्च- हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने बतौर वित्त मंत्री वर्ष 2025-26 का राज्य बजट प्रस्तुत करते हुए कहा ...
चंडीगढ़, 17 मार्च - हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने हरियाणा विधानसभा के बजट सत्र के दौरान बतौर वित्त ...
चंडीगढ़, 21 फरवरी - हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने रावी और ब्यास जल न्यायाधिकरण के समक्ष हरियाणा के हितों की बात करते हुए कहा कि 30 जनवरी 1987 को रावी और ब्यास जल न्यायाधिकरण द्वारा दी गई अपनी रिपोर्ट पर अंतिम निर्णय जल्द से जल्द लिया जाए, ताकि हमारे न्यायोचित हिस्से का पानी हमें शीघ्र मिल सके। मुख्यमंत्री ने यह बात रावी और ब्यास जल न्यायाधिकरण के दौरे के दौरान हुई बैठक में कही। श्री नायब सिंह सैनी ने रावी और ब्यास जल न्यायाधिकरण के अध्यक्ष न्यायमूर्ति श्री विनीत सरन, सदस्य न्यायमूर्ति श्री पी. नवीन राव और श्री सुमन श्याम का हरियाणा की 2 करोड 80 लाख जनता की और से स्वागत किया। उन्होंने कहा कि 30 जनवरी 1987 को रावी और ब्यास जल न्यायाधिकरण ने अपनी रिपोर्ट दी थी। उस दिन से आज तक हरियाणा का हर बच्चा, नवयुवक और बुजुर्ग इस विषय में अंतिम निर्णय आने का बेसब्री से इंतजार कर रहा है। मुख्यमंत्री ने कहा कि उन्हें आशा है कि न्यायाधिकरण इस सम्बंध में अवश्य ही विवेकपूर्ण निर्णय लेगा, जिसकी पूरे भारतवर्ष में प्रशंसा होगी। उन्होंने कहा कि भावी पीढ़ी के लिए जल संरक्षण न केवल भारत की चिंता है, बल्कि वैश्विक चिंता का विषय बन गया है। इसके लिए जल संरक्षण की योजनाएं बनानी होंगी। पूर्व प्रधानमंत्री स्वर्गीय श्री अटल बिहारी वाजपेयी ने नदियों को जोड़ने की योजनाएं बनाई थी, जिसे आज प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी आगे बढ़ा रहे हैं। हरियाणा सरकार ने भी नदियों को जोड़ने के लिए रूपरेखा बनाने की दिशा में कदम बढ़ाए हैं। श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि हरियाणा के लिए एसवाईएल भी एक महत्वपूर्ण मुद्दा है और माननीय सुप्रीम कोर्ट द्वारा हरियाणा के हक में फैसला भी दिया गया है, लेकिन फिर भी अभी तक पंजाब की ओर से हरियाणा को उसके हिस्से का पानी नहीं मिला है। उन्होंने कहा कि हम लगातार कई मंचों से कह चुके हैं कि हरियाणा को उसके हिस्से का पानी मिलना चाहिए, लेकिन पंजाब सरकार द्वारा इस दिशा में कोई कार्य नहीं किया जा रहा है। उन्होंने उम्मीद जताई कि जल्द ही एसवाईएल के विषय का समाधान होगा। इस अवसर पर हरियाणा के मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव श्री राजेश खुल्लर, सिंचाई एवं जल संसाधन विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री अनुराग अग्रवाल, हरियाणा व पंजाब के महाधिवक्ता भी मौजूद रहे।
चंडीगढ़, 20 फरवरी – हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने अधिकारियों को राज्य के विभिन्न क्षेत्रों में महत्वपूर्ण निवेश सुनिश्चित करने के लिए हर संभव कदम उठाने के निर्देश दिए । उन्होंने प्रदेश में औद्योगिक विकास को और गति देने के लिए, आवश्यकता अनुसार मौजूदा नीतियों को संशोधित करने की आवश्यकता पर बल देते हुए कहा कि इससे न केवल अधिक निवेश आकर्षित होगा बल्कि रोजगार के और अधिक अवसर भी पैदा होंगे । मुख्यमंत्री बुधवार देर शाम उद्योग एवं वाणिज्य विभाग की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने कहा कि हरियाणा ने पहले ही आईएमटी खरखौदा की सफलता के आधार पर राज्य भर में 10 अत्याधुनिक औद्योगिक टाउनशिप स्थापित करने की योजना बनाई है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में उद्योगों की स्थापना को सुविधाजनक बनाने और वैश्विक निवेश को आकर्षित करने के लिए सक्रिय कदम उठाए जाने चाहिए। इस संबंध में उन्होंने हरियाणा में एक अत्याधुनिक आईटी पार्क के निर्माण के साथ-साथ उद्योगों और एमएसएमई दोनों के लिए विशेष प्रोत्साहन देने का भी सुझाव दिया ताकि राज्य को निवेश के लिए अधिक आकर्षक स्थान बनाया जा सके। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार द्वारा विनिर्माण को बढ़ावा देने और देश भर में एमएसएमई को बढ़ावा देने के लिए उठाए गए कदमों की भी सराहना करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय राजधानी से सटा होने और मजबूत बुनियादी ढांचे के साथ, हरियाणा वैश्विक उद्यमों को आकर्षित करने वाले आर्थिक पारिस्थितिकी तंत्र को विकसित करने के लिए बेहतर स्थिति में है। इसके अतिरिक्त, भारतीय प्रवासी भी हरियाणा में उद्यम स्थापित करने के इच्छुक हैं, जिससे आर्थिक विकास के लिए और अवसर उपलब्ध होंगे । उन्होंने सुझाया कि उद्योग विभाग और हरियाणा राज्य औद्योगिक और बुनियादी ढांचा विकास निगम ऐसे सभी उद्यमियों से संपर्क करते हुए हरियाणा राज्य में उनके निवेश को सुविधाजनक बनाना चाहिए। उन्होंने कहा कि समय पर कार्यान्वयन और परिणाम सुनिश्चित करने के लिए ये कार्य टारगेट बेस्ड होना चाहिए। एक अलग बैठक में मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को राज्य में एयरोस्पेस और रक्षा निवेश आकर्षित करने पर ध्यान केंद्रित करने का भी निर्देश दिया। हरियाणा राज्य को राष्ट्रीय एयरोस्पेस और रक्षा हब के रूप में स्थापित करने के उद्देश्य से एयरोस्पेस और रक्षा निवेश नीति को स्वीकृति दी गई है जिसका उद्देश्य इस क्षेत्र में अगले पांच वर्षों में 1 बिलियन अमरीकी डालर के निवेश को आकर्षित करना है। बैठक में मुख्य सचिव श्री अनुराग रस्तोगी, मुख्यमंत्री के मुख्य प्रधान सचिव श्री राजेश खुल्लर, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव श्री अरुण कुमार गुप्ता, एसीएस श्री विजयेंद्र कुमार, उद्योग विभाग के प्रधान सचिव श्री डी. सुरेश, नागरिक उड्डयन विभाग के प्रधान सचिव श्री श्यामल मिश्रा, श्रम विभाग के प्रधान सचिव श्री राजीव रंजन, मुख्यमंत्री के ओएसडी श्री राज नेहरू सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद रहे।
चंडीगढ़ 15 फरवरी - हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री नायब सिंह सैनी ने कहा कि कृषि ट्रैक्टरों के सीएमवीआर (केंद्रीय मोटर वाहन नियम) ...
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चंडीगढ़, 25 जुलाई(प्रेस की ताकत ब्यूरो) देश के पांचवीं और हरियाणा की पहली स्पोर्ट्स यूनिवर्सिटी में इसी शैक्षणिक सत्र से ...
चंडीगढ़, 26 मार्च(प्रेस की ताकत)- हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल ने कहा कि हाल ही में हुई बेमौसम बारिश ...
चंडीगढ़,26-03-23(प्रेस की ताकत): हरियाणा के मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल चंडीगढ़ में विभिन्न विभागों को दी गई आयु समूहवार असाइनमेंट की ...
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